
मेरे यूनीवर्सिटी इग्जाम्स आने वाले थे इसलिए मैं और मेरे सारे सहपाठी अपनी परीक्षाओं की तैयारी में लगे हुए थे आसपास क्या हो रहा है हमें होश तक नहीं था मुझसे एक एक बार किसी छात्र ने ‘चीन में कोरोना…’ कहकर कुछ कहना चाहा पर मैने अपनी परीक्षाओ की तैयारी की बात कह कर उस फ्रैंड की बात काट दी , मेरे एग्जाम शुरु हुये लेकिन बीच मे ही सभी स्कूल-कॉलेज बंद करने की खबर सुनी, यूनिवर्सिटी की वेबसाइट पर चेक किया तो मुझे कोविड-19 एक वायरस के बारे में पता चला पर यूनीवर्सिटी द्वारा निर्देश दिए गए थे कि स्कूल कॉलेज बंद रहेंगे पर जिन जगहों पर परीक्षाएं चल रही है यथावत चलती रहेंगी इसलिए हम एग्जाम की तैयारी में व्यस्त थे लेकिन अचानक 17 अप्रैल को जब मैंने पेपर दिये उसके बाद पता चला कि 18 मार्च से 2 अप्रैल तक की परीक्षाएं स्थगित कर दी गई है जिसका रीज़न था कोरोना वायरस जोकि इतनी गंभीर समस्या है ये मुझे 18 मार्च को ही समझ आया फिर क्या था मै कोरोना के बारे में जानकारी हासिल करने में लग गई दरसल कोरोना यानी कोविड-19 वायरस कि चपेट मे आकर चीन, अमेरिका, मे और इटली जैसे देशों में कई मौते होचुकी हैै और अब शायद अब हमारे देश की बारी है पर अभी भी मुझे भरोसा था कि हमारे देश में ऐसा कुछ नहीं होने वाला नही क्योंकि व्हाट्सएप और टिकटॉक मे कोरोना को लेकर अभी तक मजाक चल रहा था कि एक दिन प्रधानमंत्री मोदी जी ने 22 मार्च को जनता कर्फ्यू करने और शाम 5 बजे थाली बजाकर कोरोना से जंग लड़ रहे डॉक्टरों को धन्यवाद देने के लिए ताली व
, थाली बजाने का निवेदन किया तो पूरे भारत मे न सिर्फ ताली, थाली व घंटी बजायी गई बल्कि संख भी बजाये गये क्योकि भारत मे ज्यादातर लोगो का मानना है कि संख बजाने से संकट दूर होता है या आपकी प्रार्थना ईश्वर तक जल्दी पहुंचती है और वैसे घंटी बजाने और संख बजाने के वैज्ञानिक तथ्य भी सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर वाइरल हुये, पर मोदी जी का मुख्य उद्देश्य कोरोना से लोगो को बचाने के लिये लगातार प्रयासरत डॉक्टरो और पुलिसवालो को धन्यवाद देना था पर ज्यादातर लोगो को लग रहा था कि उनकी घंटी, शंख की आवाज से करोना वायरस आज ही मर जाएगा क्योंकि सिंगर सोनू निगम द्वारा सोशल नेटवर्किंग में यह मैसेज दिया जा रहा था कि करोना का वायरस किसी भी निर्जीव वस्तु 12 घंटे तक रहता है और जनता कर्फ्यू 14 घंटे के लिए किया गया है ताकि करोना के फैलने की कड़ी टूट जाए और मैसेज यह भी वायरल हो रहा था की घंटी बजाने से कीटाणु मर जाते हैं खैर 22 मार्च को भी ज्यादातर लोगो ने मजाक मे ही लिया पर पालन पूरा किया कारण कुछ भी हो पर एक ही टाइम पर भारत के सभी लोगों का थाली और ताली बजाना देश की एकता का सूचक बना , पर जैसे जैसे लॉक डाउन शुरु हुआ लोगो को समझ आने लगा की मामला बहुत गम्भीर पर फिर कुछ लोग इन सब बातो को नजरअंदाज करने लगे तो पुलिस को भी डंडो काम सहारा लेना पड़ा, पर अब जैसे जैसे कोरोना मरीजो और मरने वाली की संख्या बढ़ रही है तो मजाक कम दहशत ज्यादा है , फेमस सिंगर कनिका कपूर अब कोरोना के चौथे स्टेज पर चल रही है दवाओ से ज्यादा उन्हे अब दुवाओ की जरूरत है.
घर मे रहना है, बार बार हाथ धोना है, मास्क पहनना है, घर वालो से भी डिस्टेंस बना कर रहना है ये बात बच्चे, बूढ़े और जवान को मालूम है फिर भी मुझे दुख होता है जब मुझे खबर मिलती है कि लोग लॉक डाउन के नियमो काम पालन नही कर रहे है, लापरवाही के चलते के कोरोना मरीजों की संख्या बढ़ रही है, कुछ दिन पहले एक वाइरल ऑडियो के अनुसार ये बात सामने आई कि विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने मोदी जी को आगाह कर दिया था कि अगर कोरोना भारत मे फैला तो चीन, इटली और अमेरिका से भी बुरे हालात भारत के होंगे क्योंकि यहां अस्पतालों की ठीक से व्यवस्था नहीं है, भारत के प्रयास सराहनीय है क्योकि कम से कम यहां कोरोना महामारी काम रुप नही ले सका है . WHO ने यह भी स्पष्ट किया कि भारत उनकी रिसर्च टीम का हिस्सा बना रहेगा , WHO के मुताबिक कोरोना बार बार गरम पानी पीने से ठीक नही होता है न ही मास्क ज्यादा कारगर है , सिर्फ घर पेट रहना ही सुरक्षित है. भले ही हमारा देश अमेरिका,चीन, इटली जैसा अमीर नहीं कि कोरोना जैसी महामारी में हालात काबू कर सके पर
पाकिस्तान जितना गरीब भी नहीं कि लॉकडाउन लागू करके लोगों को सुरक्षित भी ना कर सके जैसा कि पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान ने कहा कि लॉक डाउन करने लायक देश की अर्थव्यवस्था नहीं है .
मुझे नॉर्मल छीक भी आ रही थी तो ऐसा लगता था कहीं मुझे करोना तो नहीं हो गया इसलिए मैंने डॉक्टर से परामर्श ली तो बताया कि साधारण साधारण जुकाम मे छीक, नाक बहेगी, बदन हल्का दर्द होगा बुखार भी हल्का ही होगा पर बात करे अगर कोरोना की तो इसमें गले में तेज खराश होगी और खांसी आगे से सुखी होती जाएगी और सांस भी फूलने लगेगी बाद में निमोनिया होने लगेगा इसलिए कोरोना से डरने की नहीं बल्कि लड़ने की जरूरत है ,साथ ही मास्क लगाने की जरुरत बीमार व्यक्ति को है न कि स्वस्थ व्यक्ति को है कोइ भी प्राइवेट संस्था कोरोना के लिये काम नही कर रही बल्कि सिर्फ सरकारी संस्था ही कोरोना के लिये काम कर रही है इसलिये कोरोना की आशंका होने पर सिर्फ सरकारी संस्था से सम्पर्क करना चाहिये।
एक तरफ तो हमारे देश मे अक्षय कुमार सहित कइ सेलिब्रिटी ने मदद को हाथ आगे बढ़ाये पर फिर भी पलायन कर को मजबूर भूखे प्यासे मजदूर का हाल देख कर दुख हुआ जिसके चलते राज्य सरकारों के बीच में एक दूसरे के कार्यों को लेकर बहस हो गई , जिस पर दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि यह वक्त लड़ने का नहीं बल्कि एकजुट होने का है. जैसा कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मोदी सरकार के कार्यों पर पर सवाल उठाने के बजाय कोरोना से लड़ने के सुझाव दिए. सच है ये वक्त वोटो के लिये लड़ने या पिछले सरकारो के कार्यो के काम का आकलन करने का नही बल्कि एकजुट होने का है नही तो प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा कहे शब्द ‘ देश 20 साल पीछे चला जायेगा’ सच होते नजर आयेंगे.
फिलहाल भारत में करोना अभी stage-2 पर ही है स्टेज 3 को रोकने के प्रयास लगातार हो रहे हैं , कोरोना मरीजों की पिछले कुछ दिनों में संख्या भले ही हजार से ऊपर हो गई हो पर इटली और अमेरिका मे इतने ही दिनों में यह संख्या बहुत ज्यादा थी.
इन सबके बीच कुछ चीजें अच्छी हुई है जैसे कि बढ़ते प्रदूषण में कमी आई है , हत्या, लूट, रेप छेड़छाड़ की खबर अब कानो मे नहीं सुनाई पड़ती , लोग हाथ होने की अच्छी आदत सीख रहे हैं, मांस नहीं खा रहे हैं. जो लोग बिजी होने का हवाला देकर परिवार से दूर रहते थे वह लोग अब परिवार के साथ वक्त बिता रहे हैं.
सुरक्षित रहना बहुत जरूरी है,
कृपया तारीखें सही कर लीजिये।